News-Economy
आनेवाले पांच वर्षों में भारत में १०० यूनीकॉर्न स्टार्टअप हो सकते है
M Y Team दि. १७ जनवरी २०२१
स्टार्टअप की दुनिया में यूनीकॉर्न यानी एक अरब डॉलर से ज्यादा का कारोबार करने वाले स्टार्ट-अप का बेमिसाल महत्व है I ताजा जानकारी के अनुसार भारत में अगले पांच वर्षो में यूनीकॉर्न स्टार्टअप की संख्या तेजी से बढ़कर १०० हो सकती है। इससे ५ ट्रिलियन डॉलर की अर्थव्यवस्था बननेके मोदीजीके सपनेको भारी मदद हो सकती है I पिछले वर्ष ११ नई भारतीय कंपनियों ने यूनीकॉर्न का तमगा हासिल किया था। बैंक ऑफ अमेरिका ने एक रिपोर्ट में शुक्रवार को कहा है कि वर्ष २०२५ तक इनकी संख्या १०० हो सकती है। इस रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि रिलायंस जियो की डिजिटल क्रांति की वजह से यूनीकार्न की फौज खड़ी हुई है। भारत में अभी कुल ३७ यूनीकॉर्न हैं।
रिपोर्ट का मानना है कि जियो की ४जी सेवा की लॉन्चिंग भारत की डिजिटल क्रांति के लिए गेम चेंजर साबित हुई है। किफायती दामों में ग्राहकों को इंटरनेट सेवा मिलने से बड़े पैमाने पर डाटा का इस्तेमाल शुरू हुआ है। भारत में अभी ६५ करोड़ इंटरनेट यूजर्स हैं, जो प्रतिमाह १२ जीबी डाटा इस्तेमाल कर रहे हैं। यूनीकॉर्न को इसका पूरा फायदा मिला है। रिलायंस अपनी मेड इन इंडिया 5जी सेवा लांच करने की तैयारी में है, यह इस प्रक्रिया को और तेज कर सकती है। शिक्षा, खाद्य व ई-कॉमर्स समेत इंटरनेट आधारित सेवा देने वाली अन्य कंपनियां अगले कुछ वर्षो में शेयर बाजार में उतरेंगी जिसका व्यापक असर होगा।
भारत में मूल्य के लिहाज से फ्लिपकार्ट सबसे ऊपर है। इसका मूल्यांकन अभी २५ अरब डॉलर है। दूसरे स्थान पर करीब १६ अरब डॉलर के साथ पेटीएम है। तीसरे स्थान पर शिक्षा से जुड़ी कंपनी बायजूस है, जिसका बाजार मूल्य ११.१ अरब डॉलर पर पहुंच गया है। भारत यूनीकॉर्न के मामले में कई देशों को पीछे छोड़ चुका है। ब्रिटेन जैसे विकसित देश में भी वर्ष २०२० में यूनीकार्न की संख्या २१ से बढ़कर २४ हुई है, जबकि जर्मनी में इनकी संख्या सिर्फ १२ है।
रिपोर्ट के मुताबिक, भारत पांच लाख करोड़ डॉलर की इकोनॉमी की तरफ बढ़ रहा है और इसमें यहां के डिजिटल इकोसिस्टम की भूमिका महत्वपूर्ण होगी। भारतीय बाजार से सीखकर कंपनियां अब विदेशी बाजारों में प्रवेश कर रही हैं। बैंक ऑफ अमेरिका का मानना है कि ओला और ओयो के बाद बायजूस, जोमैटो, मेशो जैसे स्टार्ट-अप भी ग्लोबल स्तर पर मशहूर होंगे I
Courtesy- Dainik Jagaran
==== + ====