News-Agriculture
सरकार ने पिछले १६ दीनोमे MSP पर पंजाब-हरियाणासहित सभी राज्योके किसानोसे समर्थन मुल्यपर खरीदा ४३ लाखटन धान
M Y Team दी.१२ अक्तूबर
कोंग्रेस और अन्य विरोधी दल जहा झूट फैलाते हुए कृषि विधेयाकोंका विरोध जता रहे है वहा केंद्र सरकार धान की न्यूनतम समर्थन मूल्य ( MSP ) पर जोरदार खरीदी कर रही है. केंद्र सरकारको नए कृषि कानूनों के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे किसानों को एक संदेश देना है कि उसका एमएसपी में खरीद को समाप्त करने कोई उद्देश नहीं है. खरीप सिझन की धान खरेदी पंजाब और हरियाणा में २६ सप्तेम्बरसे और बाकी राज्योमे १ अक्तूबर से शुरू हो गयी है. अन्न मंत्रालय के सुत्रोने १२ अक्तूबर को बताया की पिछले १६ दीनोमे ४३ लाख टन धान खरीदी किया गया है, जिसका एम्एसपी के दरोसे मूल्य ८ हजार ३३ करोड़ रुपिया है. अपने देशमे तैयार होने वाले धानका ८० प्रतिशत धान खरीप सीजनमें पैदा होता है. अभीतक ३ लाख ५७ हजार किसानोसे धानकी खरीदारी हुई है. यह खरीदी फ़ूड कारपोरेशन ऑफ़ इंडिया और राज्य सरकारोंकी सम्बंधित विभाग के द्वारा की जाती है. यह खरीदी न्यूनतम समर्थन मूल्य ( MSP ) पर की जाती है. इस साल सर्वसाधारण धानको रु.१८६८ प्रति क्विंटल और ए ग्रेड धान को रु १८८८ प्रति क्विंटल एम्एसपि दी जा रही है.
इसके साथ अन्य कृषि उपजोंकी खरीदारी भी जारी है. ५२५२ कृशकोंसे रु ७५ करोड़ रुपियेकी कपास की खरीदी भी के गयी है. सरकार पल्सेस और तेलबीजको मूल्य समर्थन योजनाके तहत खरीदती है. इसके अलावा, मूल्य समर्थन योजना (पीएसएस) के तहत, सरकार ने अपनी नोडल एजेंसियों के माध्यम से, तमिलनाडु में अब तक एमएसपी की दर पर 33 लाख रुपये मूल्य के 46.35 टन मूंग की खरीद की है, जिससे प्रदेश के 48 किसानों को लाभ मिला है।
इसी तरह, 5,089 टन खोपरा यानी नारियल गरी (बारहमासी फसल), की 52.40 करोड़ रुपये में खरीदारी की गई है। इससे कर्नाटक और तमिलनाडु के 3,961 किसानों को लाभ मिला है। मंत्रालय ने कहा कि उसने तमिलनाडु, कर्नाटक, महाराष्ट्र, तेलंगाना और हरियाणा से 14.09 लाख टन खरीफ दलहनों और तिलहन की खरीद को मंजूरी दी है। अन्य राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के लिए, प्रस्ताव प्राप्त होने पर स्वीकृति दी जाएगी। वर्ष 2020-21 सत्र के लिए कपास की खरीद का काम एक अक्टूबर से शुरू होगा।
==== + ====